मुख्यमंत्री ने शिक्षा का अधिकार कानून के तहत शिक्षकों की नियुक्ति में शिक्षक योग्यता परीक्षा (टीईटी) की अनिवार्यता से पैदा स्थिति को भी प्रधानमंत्री के सामने उठाया है। प्रदेश में लगभग 2.86 लाख शिक्षकों के पद खाली हैं। हर साल 12 हजार और रिक्त होने का आकलन है। प्रशिक्षित शिक्षकों की कमी को पूरा करने के लिए राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद (एनसीटीसी) ने बीएड धारकों को छह माह का प्रशिक्षण देकर एक जनवरी,2012 तक शिक्षक पद पर नियुक्ति की छूट दी थी। कानूनी अड़चनों के चलते यह काम पूरा नहीं हो सका। लिहाजा मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री से इस छूट को बढ़ाकर 31 मार्च, 2015 तक करने की गुहार की है। dainik jagran 15/4/12
लखीमपुर, यूपी टीईटी उत्तीर्ण शिक्षक महासंघ ने अपने दिवंगत साथियों की याद में कैंडिल मार्च निकालकर उन्हें श्रद्धांजलि दी। नसीरुद्दीन मौजी भवन के प्रांगण से सदर चौराहा होकर हीरालाल धर्मशाला पहुंचा जुलूस एक जनसभा के रूप में बदल गया। इस कैंडिल मार्च में सैकड़ों की संख्या में टीईटी शिक्षक शामिल थे। बुलंदशहर व संत कबीर नगर के टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों की टीईटी निरस्त होने की सूचना पाकर हुई मौत पर रविवार को शिक्षक महासंघ ने नसीरुद्दीन मौजी भवन के प्रांगण में बैठक कर शोक सभा की। इसके बाद शाम करीब सात बजे प्रांगण से विशाल कैंडिल मार्च निकाला गया। यह मार्च कचहरी रोड होकर सदर चौराहा तथा कोतवाली के सामने से होकर हीरालाल धर्मशाला चौराहे पर खत्म हुआ। धर्मशाला चौराहा पर यह जुलूस एक सभा में तब्दील हो गया, जिसमें अध्यक्ष देवेश चंद्र त्रिवेदी, उपाध्यक्ष दीपक गुप्ता, विनय कुमार वर्मा, रवि शुक्ला ने सभी दिवंगत साथियों को श्रद्धांजलि दी। इस कैंडिल मार्च में विधि सलाहकार बूटा सिंह, शत्रुंजय मिश्र, आनंद मिश्र, धर्मेद्र कुमार, शिशिर ंिसह, रामकुमार सिंह चौहान, सर्वेश गुप्ता, कमल किशोर समेत सैकड़ों लोग शामिल थे।
लखीमपुर, यूपी टीईटी उत्तीर्ण शिक्षक महासंघ ने अपने दिवंगत साथियों की याद में कैंडिल मार्च निकालकर उन्हें श्रद्धांजलि दी। नसीरुद्दीन मौजी भवन के प्रांगण से सदर चौराहा होकर हीरालाल धर्मशाला पहुंचा जुलूस एक जनसभा के रूप में बदल गया। इस कैंडिल मार्च में सैकड़ों की संख्या में टीईटी शिक्षक शामिल थे। बुलंदशहर व संत कबीर नगर के टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों की टीईटी निरस्त होने की सूचना पाकर हुई मौत पर रविवार को शिक्षक महासंघ ने नसीरुद्दीन मौजी भवन के प्रांगण में बैठक कर शोक सभा की। इसके बाद शाम करीब सात बजे प्रांगण से विशाल कैंडिल मार्च निकाला गया। यह मार्च कचहरी रोड होकर सदर चौराहा तथा कोतवाली के सामने से होकर हीरालाल धर्मशाला चौराहे पर खत्म हुआ। धर्मशाला चौराहा पर यह जुलूस एक सभा में तब्दील हो गया, जिसमें अध्यक्ष देवेश चंद्र त्रिवेदी, उपाध्यक्ष दीपक गुप्ता, विनय कुमार वर्मा, रवि शुक्ला ने सभी दिवंगत साथियों को श्रद्धांजलि दी। इस कैंडिल मार्च में विधि सलाहकार बूटा सिंह, शत्रुंजय मिश्र, आनंद मिश्र, धर्मेद्र कुमार, शिशिर ंिसह, रामकुमार सिंह चौहान, सर्वेश गुप्ता, कमल किशोर समेत सैकड़ों लोग शामिल थे।
dainik jagran 15/4/12