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Saturday, May 5, 2012

टीईटी घोटाले के आरोपी माध्यमिक शिक्षा के पूर्व निदेशक संजय मोहन ने वृंदावन योजना में एक निर्माणाधीन पब्लिक स्कूल में करीब दो करोड़ रुपये लगाए हैं।

पूर्व शिक्षा निदेशक ने लगाए दो करोड़
 लखनऊ टीईटी घोटाले के आरोपी माध्यमिक शिक्षा के पूर्व निदेशक संजय मोहन ने वृंदावन योजना में एक निर्माणाधीन पब्लिक स्कूल में करीब दो करोड़ रुपये लगाए हैं। वह निर्माण कार्य देखने वाले संजय गांधी पुरम निवासी देवेंद्र पांडेय से फोन के जरिए निर्माण से जुड़ी जानकारियां भी लेते रहते थे। डीआइजी आशुतोष पांडेय के मुताबिक पूर्व शिक्षा निदेशक ने अपने एक करीबी अशफाक के जरिए रकम देवेंद्र को छिपाने के लिए दी थी। अशफाक पब्लिक स्कूल के निर्माण कार्य का सुपरवाइजर है। पुलिस ने अशफाक व उसके बहनोई फारुख शेख की तलाश में कई स्थानों पर दबिशें दीं, लेकिन उनका कुछ पता नहीं लगा सकी हैं। गाजीपुर पुलिस ने गुरुवार रात देवेंद्र पांडेय को गिरफ्तार कर 17 लाख रुपये बरामद किए थे। डीआइजी ने बताया देवेंद्र ने पूछताछ में पूर्व शिक्षा निदेशक से जुड़े कई राज उगले हैं। देवेंद्र वृंदावन योजना में लोकेश सिंह के निर्माणाधीन पब्लिक स्कूल में देखरेख का काम करता था। देवेंद्र का वेतन नौ हजार रुपये मासिक था। पूर्व शिक्षा निदेशक ने फरवरी में अपनी गिरफ्तारी से पहले अशफाक व उसके बहनोई फारुख के जरिए भ्रष्टाचार के जरिए कमाई गई रकम को ठिकाने लगाया था। इसी कड़ी में पूर्व शिक्षा निदेशक ने 17 लाख रुपये अशफाक के जरिए देवेंद्र पांडेय तक पहुंचाए थे, ताकि वह इस रकम को छिपाकर रख सके। देवेंद्र ने पुलिस को बताया कि दो दिन पहले अशफाक ने उससे रकम को कहीं और ले जाकर रखने की बात भी कही थी। डीआइजी के मुताबिक देवेंद्र ने बताया कि पूर्व शिक्षा निदेशक ने बीते दो वर्ष में करीब दो करोड़ रुपये स्कूल के निर्माण कार्य में लगाए हैं। वह कई बार यहां निर्माण कार्य देखने भी आए थे। इसके अलावा देवेंद्र से मोबाइल फोन के जरिए हर 10 से 15 दिनों के बीच निर्माण संबंधी जानकारी भी लेते रहते थे। news-dainik jagran 5/5/12